*रामचंद्र बरेटिया जी ने मनाया अनोखा जन्म दिवस
जी हां आज कल जन्म दिवस मनाने का प्रचलन काफी गर्माता नजर आ रहा है बीच सड़कों पर केक काटना वा रास्तों पर धूम धाम करना जैसे प्रचलन बढ़ सा गया है
कुछ लोग अपने आप को बड़ा बनाने के लिए मात्र 150 रुपए का केक बीच रास्ते पर काट ते है और बर्थडे सोंग स्टेट्स वा बड्डे आज भाऊ का ,बाप तो बाप रहेगा जैसे सोंग whtsup इंस्टा ग्राम पर रखते हे तो कुछ छोटे मोटे झुटी शान वाले इंस्टाग्राम एक्टरों को100,200रुपए की एड देकर शुभकामनाएं रील इंस्टा ग्राम पर बुलवाते हैं और 100/200 रुपयों के लालची शोक से अपने इंस्टा ग्राम जैसे कई ऐप पर बोलते भी नजर आते है
अब तो अक्सर यह देखा जा रहा हे की कई बार रास्तों पर केक काटने के प्रचलन ने विवाद को बढ़ावा दिया है तो कई दो गुटों में झड़प तो कई हत्या तक के मामले देखे जा चुके हैं साथ ही
कुछ पार्टी के कार्यकरता अपने लीडर का जन्म दिवस भी वार्डो में बीच रास्ते पर एक केक काट कर बर्थडे माना रहें है
किंतु आज हमने ऐसे शाक्स को देखा है जिसने अपना जन्म दिवस कुछ अलग तरीके से मना कर यह साबित करा दिया है की जन्म दिवस इसी तरह माना ना चाहिए
जी हा आज हम उस शख्स की बात कर रहे है जो किसी तारीफ का मोहताज नहीं हैं और जिस को अकोला जिला भर में लोग बा खूबी जानते हे जो अपने में ही एक बेहतरीन कार्य करता है
जी हा अकोट शहर के माझी नगर अध्यक्ष रामचंद्र बरेठिया
ने अपना जन्म दिवस ऐसे अंदाज में मनाया की जिस की मनोकामना हम कर भी नही सकते
वैसे तो अकोट शहर वासियों को जैसे ही पता चला की रामचंद्र बरेठिया का जन्म दिवस है तो कई बुजुर्ग,युवाओं सामाजिक कार्यकर्ताओं ने वा कई उद्योग पतियों ने अकोट शहर के चौंक चोहराहों पर जन्म दिवस के शुभ कामनाओं के बैनर लगा दिए और देखते ही देखते
शहर वा ग्रामीण इलाकों के बूढ़े युवा वा हर समाज के लोग रामचंद्र बरेठिया को जन्म दिवस की शुभ कामनाएं देने उनके घर पहुंच गए तो कुछ करीबी दोस्तों ने मिउजिक का प्रोग्राम रखा बस देखते ही देखते फूलों के ढिगार तो कही गुलदस्तों की बौछार तो कई गिफ्टों की बरसात ने घर को चका चोन कर दिया
किंतु रामचंद्र बरेठिया का दिल कुछ और ही चाहता ता था इतने लोगो के बीच भी रामचंद्र बरेठिया को कुछ तो कमी महेसुस होती दिखाई दी और इसी समय में से अपना कीमती समय निकाल कर नगर पालिका 1 स्कूल में जाकर सेकंड क्लास के छोटे बच्चों को बुक पेन,पेंसिल,रबर,वा कलर के पैकेट बाट कर अपना जन्म दिवस मनाया
जिसे देख आज यह समझ में आया की बीच रास्ते पर एक 150/रुपयों का केक काट कर जन्म दिवस नही कहलाता
जन्म दिवस मनाना होतो ऐसा मनाओ की जन्म दिवस वाले की खुशी से ज्यादा खुशी दूसरों को हो
और वही खुशी छोटे मासूम बच्चों की हो तो वोह जन्म दिवस वक्काई में जन्म दिवस होंगा
जी हा जब हमने गिफ्ट लेते उन नन्हे छोटे मासूम बच्चों के चेहरे पर खुशी देखी उस वक्त का नजारा देखने लायक था और तब यह पता चला की सही खुशी कहा और कैसे मिलती है
आज ऐसा जन्म दिवस मना कर रामचंद्र बरेठिया ने यह बता दिया है की जन्म दिवस की खुशी सही मायनो में कहा मिलती है रामचंद्र बरेठिया के इसकुल में दाखिल होते ही मुख्य ध्यापक मुख्तार सर ने रामचंद्र जी का हार वा पुष्प गुच्छ देकर जन्म दिवस की शुभकामनाएं दी तो इस्कुल के स्टाफ ने हार पहना कर शुभ कामनाएं दी और बच्चो ने उनका सुवागत नगमे वा तालियों से किया इस कार्यक्रम के समय स्कूल के मुख्य ध्यापक,मुख्तार सर,नजीब सर,मुंजिरो दिन सर,खालिद इनामदार ,मोहम्मद अजहर पत्रकार जफर खान सहित आदि मान्यवर उपस्थित थे
*अकोट से जफर खान की रिपोर्ट*